अन्य प्राणियों की तुलना में हमारा शरीर काफी
संवेदनशील होता है। यही कारण है कि भविष्य में होने वाली घटना के प्रति हमारा शरीर
पहले ही आशंका व्यक्त कर देता है। शरीर के विभिन्न अंगों का फड़कना भी भविष्य में
होने वाली घटनाओं से हमें अवगत कराने का एक माध्यम है। अंगों के फड़कने से भी
शुभ-अशुभ की सूचना मिलती है. प्रत्येक अंग की एक अलग ही महत्ता है, एक अलग ही विशेषता है और उनकी
फडकने का एक अलग ही अर्थ होता है।
सिर के अलग-अलग हिस्सों का फड़कना:
सिर के अलग-अलग हिस्सों के फड़कने का भिन्न-भिन्न अर्थ होता है जैसे:-
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सम्पूर्ण
सिर फडक रहा है तो यह सबसे अधिक शुभ स्थिति है आपको दुसरे का धन मिल सकता है, मुकद्दमे में जीत हो सकती है.
राजसम्मान मिल सकता है. या फिर भूमि की प्राप्ति हो सकती है, शुभ कार्य होते हैं ।
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सिर के
बाँयी ओर के हिस्से में फडकन हो तो इसे बहुत ही शुभ माना गया है। आने वाले दिनों
में यात्रा करनी पड सकती है. यदि आपकी यात्रा बिजनेस से सम्बंधित है तो ज्यादा
नहीं तो थोडा बहुत लाभ अवश्य होगा.
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सिर के
दांयी ओर के हिस्से में फडकन है तो यह शुभ फलदायक स्थिति है आपको धन, किसी राज
सम्मान, नौकरी में
पदोंन्नती, किसी प्रतियोगिता में पुरस्कार, लाटरी में
जीत, भूमि लाभ
आदि की प्राप्ति हो सकती है।
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सिर का
पिछला हिस्सा फडकता है तो समझ लीजिए आपका विदेश जाने का योग बन रहा है और वहाँ
आपको धन की प्राप्ति भी होने वाली है. लेकिन अपने देश में लाभ की कोई संभवना नहीं
है.
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सिर के
अगले हिस्से में फडकन हो रही है तो यह स्थिति स्वदेश या परदेश दोनों में ही धन मान
प्राप्ति का कारण बन सकती है।
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ललाट का
फड़कना स्नान लाभ दिलाता है।
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कनपटी
फड़के तो इच्छाएं पूर्ण होती है।
आँख का
फड़कना
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दोनों
भौंहों के मध्य फड़कन सुख देने वाली होती है।
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नेत्र का
फड़कना धन लाभ दिलाता है।
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नेत्रकोण
फड़के तो आर्थिक उन्नति होती है।
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आँखों के
पास फड़कन हो तो प्रिय का मिलन होता है।
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दाहिनी
आंख व भौंह फड़के तो समस्त अभिलाषा पूर्ण होती है।
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दायीं आँख
ऊपर की ओर के फलक में फडकती है तो धन कीर्ति आदि की वृद्धि होती है। नौकरी में
पदोन्नति होती है नीचे का फलक फडकता है तो अशुभ होने की संभवना रहती है।
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दाहिनी
पलक लगातार फडफ़ड़ाए तो शारीरिक कष्ट होता है।
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दांयी आँख
फडकती है तो यह शुभ फलदायक होता है।
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स्त्री की
दांयी आँख फडकती है तो उसे अशुभ माना जाता है।
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दांयी आँख
पीछे की ओर फडकती है तो इसका फल अशुभ होता है।
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बांई आंख
व भौंह फड़के तो शुभ समाचार मिलता है।
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बाँयी आँख
का उपरी फलक फडकता है तो दुश्मन से और अधिक दुश्मनी हो सकती है. नीचे का फलक फडकता
है तो किसी से बेवजह बहस हो सकती है और अपमानित होना पड सकता है।
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बाँयी आँख
की नाक की ओर का कोना फडकता है जिसका फल शुभ होता है. पुत्र प्राप्ति की सूचना मिल
सकती है या किसी प्रिय व्यक्ति से मुलाकात हो सकती है।
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बाँयी आँख
ऊपर की और फडकती हो तो इसका फल शुभ होता है. स्त्री की बाँयी आँख फडकती हो तो शुभ
फल होता है।
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दोनों आँखे
एक साथ फडकती हो तो चाहे वह स्त्री की हो या पुरुष की उनका फल एक जैसा ही होता है।
किसी बिछुडे हुए अच्छे मित्र से मुलाकात हो सकती है।
मूँछो का
फड़कना
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सम्पूर्ण
मूँछो में फडकन है तो इसका फल बहुत ही शुभ माना गया है इससे दूध, दही, घी, धन धान्य
का योग बनता है।
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मूंछ का
दांया हिस्सा फडकता है तो इसे शुभ समझना चाहिए।
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बाँयी
मूंछ फडकती है तो आपका किसी से बहस या झगडा हो सकता है।
मुख, तालु, कंठ आदि का फड़कना
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दोनों गाल
यदि फड़के तो अतुल धन की प्राप्ति होती है।
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होंठ
फडफ़ड़ाएं तो हितैषी का आगमन होता है, प्रिय वस्तु की प्राप्ति का संकेत देता है ।
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मुंह का
फड़कना पुत्र की ओर से शुभ समाचार का सूचक होता है, मित्र लाभ
होता है ।
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तालू में
फडकन है तो यह आर्थिक लाभ का शुभ संकेत है.
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दाया तालू
में फडकन है तो यह बिमारी की सूचना दे रहा है।
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बाये तालू
में फडकन है तो आप किसी अपराध में जेल जा सकते है।
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कण्ठ के
फड़कने से ऐश्वर्यलाभ होता है।
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स्त्री का
कंठ फडकता है तो उसे गले का आभूषण प्राप्त होता है।
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कंठ गला
तेज गति से फडकता है तो स्वादिष्ट और मनपसंद भोजन मिलता है.
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कंठ का
बांया भाग फड़कता है तो धन की उपलब्धि कराता है.
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कंठ का
उपरी भाग फडकता है तो सोने की माला मिलने की संभावना बड जाति है।
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कंठ की
घाटी के नीचे फडकन होती है तो किसी हथियार से घायल होने की संभावना रहती है।
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स्त्री के
कंठ के निचले हिस्से का फडकना कम मूल्य के आभूषणों की प्राप्ति की सूचना देता है ।
हाथ के
विभिन्न हिस्सों का फड़कना
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कंधे
फड़के तो भोग-विलास में वृद्धि होती है।
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दोनों
कंधे फड़कें तो झगड़े की संभावना रहती है।
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दाहिनी ओर
का कंधा फड़के तो धन-संपदा मिलती है।
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दाईं ओर की
बाजू फड़के तो धन व यश लाभ ।
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दाईं ओर
की कोहनी फड़के तो झगड़ा होता है।
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बाईं ओर
की बाजू फड़के तो खोई वस्तु मिल जाती है।
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बांई ओर
का कंधा फड़के तो सफलता मिलती है या रक्त विकार या वात सम्बन्धी विकार उत्पन्न हो
सकते ।
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बाईं ओर
की कोहनी फड़के तो धन की प्राप्ति होती है।
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हाथों का
फड़कना उत्तम कार्य से धन मिलने का सूचक है।
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हथेली में
यदि फडफ़ड़ाहत हो तो व्यक्ति किसी विपदा में फंस जाता है।
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हाथों की
अंगुलियां फड़के तो मित्र से मिलना होता है।
छाती, ह्रदय आदी के भागों
का फड़कना
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छाती में
फडफ़ड़ाहट मित्र से मिलने का सूचक होती है।
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पसलियां
फड़के तो विपदा आती है।
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वक्षःस्थल
का फड़कना विजय दिलाने वाला होता है।
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हृदय
फड़के तो इष्टसिद्धि दिलाती है।
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ह्रदय का
ऊपरी भाग फड़के तो झगड़ा होने की संभावना होती है।
पेट के
विभिन्न हिस्सों का फड़कना
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पेट में
फडकन है तो यह अन्न की समृद्धि की सूचना देता है, कोषवृद्धि होती है ।
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पेट का
दांया हिस्सा फडक रहा है तो घर में धन दौलत की वृद्धि होगी सुख और खुशहाली बडती
है.
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पेट का
बांया हिस्सा फडकता है तो धन समृद्धि धीमी गति से बडती है वैसे यह शुभ नहीं है.
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पेट का
उपरी भाग फडकता है तो यह अशुभ होता है।
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पेट के
नीचे का भाग फडकता है तो स्वादिष्ट भोजन की प्राप्ति होती है।
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नाभि का
फड़कना स्त्री को हानि पहुँचाता है।
पीठ के
विभिन्न हिस्सों का फड़कना
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पीठ फड़के
तो विपदा में फंसने की संभावना रहती है।
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दाहिनी ओर
की बगल फड़के तो नेत्रों का रोग हो जाता है।
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पीठ दांयी
ओर से फडक रही है तो धन धान्य की वृद्धि हो सकती है ।
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पीठ के
बांये भाग का फडकना ठीक नहीं होता है। मुकद्दमे में हार या किसी से झगडा हो सकता
है। बायी पीठ में फडकन धीमी हो तो परिवार में कन्या का जन्म होना संभव है और फडकन
तेज हो तो अपरिपक्व यानि समय से पहले ही प्रसव हो सकता है।
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पीठ का
उपरी हिस्सा फडक रहा हो तो धन की प्राप्ति होती है और पीठ का निचला हिस्सा फडकता
है तो बहुत से मनुष्यों की प्रशंसा मिलने की संभावना रहती है।
गुप्तांग के
विभिन्न हिस्सों का फड़कना
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गुप्तांग
फड़के तो दूर की यात्रा पर जाना होता है।
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दाईं ओर
का अंडकोष फड़के तो खोई वस्तु की प्राप्ति होती है।
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बाईं ओर
का फड़के तो पुत्र से सुख और विदेश यात्रा का योग बनता है।
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नितंबों
के फड़कने पर प्रसिद्धि व सुख मिलता है।
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गुदा का
फड़कना वाहन सुख देता है।
पैर के विभिन्न हिस्सों का फड़कना
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दाहिनी ओर
की जांघ फड़के तो अपमान होता है।
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दांये
घुटने में फड़कन है तो आपको सोने की प्राप्ति हो सकती है।
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दांये
घुटने का निचला हिस्सा फडक रहा है तो यह शत्रु पर विजय हासिल करने का संकेत है।
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दाहिनें
पैर का तलवा फड़के तो कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है।
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बाईं ओर
की जांघ फड़के तो धन लाभ होता है।
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बाये
घुटने का उपरी हिस्सा फडक रहा है तो इसका फल कुछ नहीं होता है।
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बांये
घुटने का निचला हिस्सा फडक रहा है तो आपके कार्य पूरा होने की संभावना बड जाती है।
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बाईं ओर
का फड़के तो निश्चित रूप से यात्रा पर जाना होता है।
Edited by: Jay S.
Sharma
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